बजट सत्र में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चर्चा का जवाब
बजट सत्र में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के अभिभाषण पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बुधवार को धन्यवाद प्रस्ताव में अपनी बात रख सकते हैं। इस सत्र की शुरुआत 29 जनवरी को राष्ट्रपति की स्पीच के साथ हुई थी। इसके बाद मोदी सरकार ने 1 फरवरी को आम बजट पेश किया।
लोकसभा और राज्यसभा में सोमवार से धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा शुरू हुई, माना जा रहा है कि इसे गुरुवार को स्वीकार कर लिया जाएगा। उधर, कांग्रेस ने राज्यसभा में नोटिस देकर कश्मीर के सुरक्षा हालात पर चर्चा की मांग की है।
न्यूज एजेंसी के मुताबिक, चर्चा के दौरान प्रधानमंत्री मोदी दोपहर 12 बजे लोकसभा और राज्यसभा में शाम को बेरोजगारी, इकोनॉमी, एग्रीकल्चर और विदेशी मामलों को लेकर विपक्ष की आलोचनाओं का जवाब दे सकते हैं। साथ ही सरकार की उपलब्धियों को स्पीच में शामिल करेंगे।
बता दें कि पिछले दिनों की कार्यवाही में बीजेपी सांसदों और मंत्रियों ने कालेधन पर अंकुश, इकोनॉमी और एग्रीकल्चर में बढ़ोत्तरी के दावे किए थे, जिसे कांग्रेस और अन्य विपक्षी पार्टियां सिरे से खारिज कर चुकी हैं।
बीजेपी ने सांसदों को व्हिप जारी किया
संसद में प्रधानमंत्री की स्पीच के चलते बीजेपी ने सभी सदस्यों को बुधवार और गुरुवार को सदन में मौजूद रहने के लिए व्हिप जारी किया है। सूत्रों के मुताबिक, मोदी सरकार गुरुवार को कुछ महत्वपूर्ण बिल लोकसभा में पेश कर सकती है।
कांग्रेस ने चर्चा के लिए नोटिस दिया
कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद ने राज्यसभा के जीरो ऑवर में जम्मू-कश्मीर में बिगड़ती सुरक्षा व्यवस्था का मुद्दा उठाया। आजाद ने कहा कि जम्मू-कश्मीर में सुरक्षा को लेकर जो हालात बने हुए हैं, उन पर सरकार इस सेशन या अगले सेशन में चर्चा करे। मैंने पहले भी इसकी मांग की थी।
मंगलवार को आतंकियों ने मंगलवार को पाकिस्तानी आतंकी नवीद को भागाया था। यह पहली घटना है जिसमें एक पाकिस्तानी आतंकी को इस तरह हमला कर भगाया गया है। यह राज्य सरकार की खामी है कि वे आतंकी के लिए पैरामिलिट्री मुहैया नहीं करा सकी। इस तरह की घटना दोबारा ना हो, इसके लिए कदम उठाए जाएं।
आरोपों के बाद वेंकैया सख्त
सदन की कार्यवाही में भेदभाव के आरोप के बाद बुधवार को सभापति वेंकैया नायडू ने सख्त नजर आए। आजाद की स्पीच के दौरान तख्ती लेकर बेल में आ रहे कांग्रेस सांसदों को वापस सीट पर बैठने के लिए कहा। कांग्रेस नेता आनंद शर्मा और आजाद से कहा कि वे अपने मेंबर्स को समझाएं।
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राज्यसभा चेयरमैन पर भेदभाव के आरोप
इससे पहले मंगलवार को विपक्षी पार्टियों ने राज्यसभा के चेयरमैन वेंकैया नायडू पर भेदभाव करने का आरोप लगाया। उनका कहना था कि सभापति जनता के हितों से जुड़े मुद्दे सदन में उन्हें नहीं उठाने दे रहे हैं।
इसके विरोध में विपक्षी पार्टियों ने मंगलवार को दिनभर के लिए राज्यसभा की कार्यवाही का बहिष्कार किया। इसमें कांग्रेस, समाजवादी पार्टी, सीपीआई, सीपीएम, एनसीपी, टीएमसी, डीएमके, आप आदि दलों के नेता शामिल रहे।
बायकॉट की क्या वजह रही?
दरअसल, मंगलवार को कार्यवाही शुरू होने के बाद टीएमसी और दूसरे विपक्षी दलों ने बोलने का मौका नहीं दिए जाने पर हंगामा शुरू कर दिया। इस पर वेंकैया ने कार्यवाही 2 बजे तक के लिए स्थगित कर दी। इसके बाद विपक्ष ने सदन का बहिष्कार किया।
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बाद में सभापति नायडू ने विपक्ष के भेदभाव करने के आरोप को खारिज कर दिया। कहा- “मेरा काम सदन के नियमों के मुताबिक कार्यवाही को चलाना है। जो सदन के नियमों के खिलाफ होगा, मैं उसे रोकूंगा। चाहे वह सत्तापक्ष का हो या विपक्ष का।”
विपक्ष के पास कोई मुद्दा नहीं – अरुण जेटली
इस पर वित्त मंत्री अरुण जेटली ने कहा, “कांग्रेस के नेतृत्व में विपक्ष ने बिल्कुल अनोखा काम किया। कांग्रेस और कुछ दूसरी पार्टियां अपनी तरफ से कुछ मुद्दे बनाना चाहती हैं, जबकि असल में उनके पास कोई मुद्दा है ही नहीं।”
इस हफ्ते संसद में बहुत सारे राजनीतिक और आर्थिक मुद्दों पर चर्चा की जा सकती है। इसके बजाए सदन के नियम तोड़े जा रहे हैं। हर दिन कोशिश की जाती है कि सदन स्थगित हो जाए। जाहिर है कि वो (विपक्ष) सदन नहीं चलाना चाहते।
साभार : bhaskar.com